पाकिस्तान संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) को अपना दोस्त मानता है और यदा-कदा भीख का कटोरा लेकर पहुंच जाता है। लेकिन अब यूएई भारत के ज्यादा करीब है। भारत-पाकिस्तान के बीच जारी तनाव के बीच पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (पीसीबी) ने अपने पाकिस्तान सुपर लीग (पीएसएल) के बाकी मैचों को संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) में आयोजित करने की घोषणा की, लेकिन उन्हें वहां मेजबानी के अधिकार नहीं मिल पाए हैं। माना जा रहा है कि यूएई ने आईपीएल के लिए पाकिस्तान को ठेंगा दिखा दिया। वहीं इंग्लैंड और वेल्स क्रिकेट बोर्ड (ईसीबी) ने भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (बीसीसीआई) को इंडियन प्रीमियर लीग (आईपीएल) के बाकी बचे मैचों की मेजबानी करने का प्रस्ताव दिया है। यह प्रस्ताव ऐसे समय में आया है जब पाकिस्तान क्रिकेट बोर्ड (पीसीबी) ने अपने पाकिस्तान सुपर लीग (पीएसएल) के बाकी मैचों को संयुक्त अरब अमीरात (यूएई) में आयोजित करने की घोषणा की है।
बीसीसीआई इस प्रस्ताव पर विचार कर रहा है, क्योंकि भारत में युद्ध के हालात के चलते आईपीएल को एक हफ्ते के लिए रोक दिया गया है। इंग्लैंड के पास बड़े और आधुनिक क्रिकेट स्टेडियम हैं और वहां आईपीएल जैसे बड़े टूर्नामेंट की मेजबानी का अनुभव भी है। हालांकि, बीसीसीआई ने अभी तक इस प्रस्ताव पर कोई अंतिम निर्णय नहीं लिया है। वे यूएई को भी एक संभावित मेजबान के रूप में देख रहे हैं, जिसने पहले भी सफलतापूर्वक आईपीएल के कुछ संस्करणों की मेजबानी की है।
आईपीएल का दबदबा
पीसीबी को अपने पीएसएल के बाकी मैचों के लिए यूएई से निराशा हाथ लगी है। यूएई क्रिकेट बोर्ड ने आईपीएल को प्राथमिकता देते हुए पीएसएल की मेजबानी करने से इंकार कर दिया है। इससे पीसीबी को एक बड़ा झटका लगा है, क्योंकि उनके पास अब मेजबानी के लिए सीमित विकल्प बचे हैं। यह घटनाक्रम दर्शाता है कि आईपीएल का वैश्विक क्रिकेट कैलेंडर में कितना दबदबा है। बड़े क्रिकेटिंग राष्ट्र भी इस लीग की मेजबानी के लिए उत्सुक रहते हैं, जबकि अन्य लीगों को अपनी जगह बनाने के लिए संघर्ष करना पड़ रहा है। अब देखना यह है कि बीसीसीआई इंग्लैंड के प्रस्ताव पर क्या रुख अपनाता है और आईपीएल के बाकी मैच कहां आयोजित किए जाते हैं।