प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने कल संविधान पर चर्चा करते हुए कांग्रेस पर जमकर निशाना साधा था। उन्होंने पं. नेहरू से लेकर इंदिरा और राजीव सरकार के संविधान पर आघात की घटनाएं याद दिलाईं तो मनमोहन सरकार को भी जमकर निशाने पर लिया। अब कांग्रेस ने पलटवार करते हुए कांग्रेस सरकारों के काम गिनाए हैं।
झूठ पर झूठ बोला
कांग्रेस सांसद जयराम रमेश ने लोकसभा में प्रधानमंत्री मोदी के भाषण पर कहा कि अगर नेहरू नहीं होते, तो प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी का क्या होता? कल उन्होंने झूठ पर झूठ बोला। उन्होंने 1951 में किए गए पहले संशोधन के बारे में बहुत बात की, इस संशोधन के होने के तीन कारण थे। पहला कारण विभाजन के बाद भयंकर सांप्रदायिक प्रचार था, दूसरा कारण अनुसूचित जाति और अनुसूचित जनजाति के लिए आरक्षण प्रावधानों को अदालत ने रद्द कर दिया था और तीसरा जमींदारी प्रथा को खत्म करने के लिए बनाए गए अधिनियमों को उच्च न्यायालय और सर्वोच्च न्यायालय ने खारिज कर दिया था। इससे निपटने के लिए पहला संशोधन आया था।
क्या अब अघोषित आपातकाल नहीं
जयराम रमेश ने कहा कि वे आपातकाल की बात करते हैं, क्या अब अघोषित आपातकाल नहीं है? यह चुनावी भाषण था, उन्हें आज के बारे में बात करनी चाहिए। अडानी के मुद्दे पर चुप, किसानों के मुद्दे पर चुप, अलग-अलग राज्यों में फैलाए जा रहे सांप्रदायिक तनाव पर चुप, चीन को दी गई क्लीन चिट पर आपने कुछ नहीं कहा। बांग्लादेश, पाकिस्तान, श्रीलंका के साथ हमारे रिश्ते कैसे होने चाहिए, इस बारे में कुछ नहीं कहा।केवल नेहरू, इंदिरा गांधी, राजीव गांधी, आप कब तक इसे जारी रखेंगे, आपको आज के बारे में बात करनी चाहिए।


