पहलगाम आतंकी हमले पर देवकीनंदन ठाकुर की प्रतिक्रिया आई है। प्रसिद्ध आध्यात्मिक गुरु और कथावाचक देवकीनंदन ठाकुर महाराज ने जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए बर्बर आतंकवादी हमले की कड़ी निंदा की है। उन्होंने इस घटना को मानवता के लिए शर्मनाक बताया और पीडि़तों के परिवारों के प्रति अपनी गहरी संवेदना व्यक्त की है। उन्होंने कहा कि कौन कहा है कि आतंक का धर्म नहीं होता, जब आतंकियों ने धर्म पूछ-पूछकर गोलियां मारीं। हम आखिर कब तक और किस सीमा तक बर्दाश्त करते रहेंगे।
निर्दोष पर्यटकों को निशाना बनाना कायरता
महाराज देवकीनंदन ठाकुर ने अपने प्रवचनों और सोशल मीडिया के माध्यम से इस हमले पर दुख और आक्रोश व्यक्त करते हुए कहा कि निर्दोष पर्यटकों को निशाना बनाना आतंकवादियों की कायरता और क्रूरता का प्रमाण है। उन्होंने कहा कि ऐसे जघन्य कृत्य किसी भी धर्म या विचारधारा के अनुरूप नहीं हैं और इनका एकमात्र उद्देश्य भय और आतंक फैलाना है। उन्होंने सरकार और सुरक्षा एजेंसियों से इस मामले में त्वरित और कठोर कार्रवाई करने की मांग की है, ताकि दोषियों को पकडक़र न्याय के कटघरे में लाया जा सके। उन्होंने कहा कि आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई में पूरे देश को एकजुट होकर खड़ा रहना होगा और ऐसे विघटनकारी तत्वों को मुंहतोड़ जवाब देना होगा।
नापाक इरादे कभी सफल नहीं होंगे
महाराज जी ने अपने अनुयायियों और आम जनता से शांति और सद्भाव बनाए रखने की अपील की। उन्होंने कहा कि हमें आतंकवादियों के मंसूबों को विफल करने के लिए आपसी एकता और भाईचारे को मजबूत करना होगा। उन्होंने यह भी कहा कि कश्मीर भारत का अभिन्न अंग है और यहां के लोग शांति और विकास चाहते हैं। आतंकवादियों के ऐसे नापाक इरादे कभी सफल नहीं होंगे। देवकीनंदन ठाकुर ने इस दुखद घड़ी में पीडि़त परिवारों को ढांढस बंधाया और ईश्वर से दिवंगत आत्माओं को शांति प्रदान करने की प्रार्थना की। उन्होंने घायलों के शीघ्र स्वस्थ होने की भी कामना की। उनका यह बयान समाज के विभिन्न वर्गों की उस गहरी पीड़ा और गुस्से को दर्शाता है जो इस आतंकी हमले के बाद महसूस की जा रही है।