उप्र के प्रयागराज में 12 साल में एक बार लगने वाले महाकुंभ के लिए सरकार सबकुछ कर रही है। आयोजन में धन की कमी आड़े नहीं आए। इसके लिए पहले ही योगी सरकार ने पर्याप्त बजट का इंतजाम कर दिया है। प्रयागराज के लिए 5171 करोड़ की 327 परियोजनाओं को मंजूरी मिल चुकी है। बताया जाता है कि महाकुंभ की सभी परियोजनाओं पर काम भी शुरू हो गया है। ऐसे में उम्मीद यह है कि साल के अंत तक सभी सुविधाएं कर ली जाएंगी। इसके साथ ही यहां आने वाले श्रद्धालुओं को कोई दिक्कतों का सामना नहीं करना पड़ेगा।
25 सेक्टर में होगा कुंभ मेला, सर्किट हाउस भी बढ़ाए
महाकुंभ के बेहतर आयोजन के लिए प्रयागराज मेला प्राधिकरण हरसंभव प्रयास कर रहा है। इसके लिए मेले का क्षेत्रफल जहां बढ़ाया जा रहा है, वहीं मेले में अतिरिक्त सुविधाएं भी मुहैया कराए जाने की तैयारी मुकम्मल कर ली गई है। प्रयागराज मेला प्राधिकरण के सूत्रों के मुताबिक मेले का क्षेत्रफल बढक़र 4000 हेक्टेयर कर दिया गया है। इसके साथ ही कुल 25 सेक्टर में मेला बसाया जाएगा जिसमें सर्किट हाउस की संख्या 3 से बढक़र 5 कर दी गई है।
25000 लोगों के लिए पब्लिक अकोमोडेशन
प्रयागराज में महाकुंभ के दौरान पांटून ब्रिजेज की संख्या भी बढ़ाई जाएगी। मेले में 25000 लोगों के लिए पब्लिक अकोमोडेशन, मोटरबोट, पूजा स्थल, चेंजिंग रूम और फ्लोटिंग जेटी बनाई जाएगी। महाकुंभ मेले में इस बार 10 डिजिटल खोया-पाया केंद्र भी बनेंगे। पहली बार यमुना नदी के वीआईपी घाट पर पक्के घाट का निर्माण कराया जा रहा है। दशाश्वमेध घाट पर भी पक्का घाट बन रहा है। यातायात की समस्या को देखते हुए तेलियरगंज से संगम क्षेत्र तक 13 किमी का रिवर फ्रंट भी बनाया जा रहा है। वर्षभर के घाटों पर जल का प्रवाह बना रहे, इसके लिए ड्रेजिंग भी शुरू कर दी गई है। महाकुंभ से जुड़ी अन्य परियोजनाओं में सडक़ों और चौराहों का चौड़ीकरण व सौंदर्यीकरण किया जा रहा है। कई फ्लाई ओवर भी बनाए जा रहे हैं। प्रयागराज जंक्शन रेलवे स्टेशन और एयरपोर्ट का विस्तार भी किया जा रहा है।