केंद्र सरकार और ‘इंडिया’ गठबंधन के बीच बिहार में चल रही स्पेशल इंटेंसिव रिवीजन (SIR) प्रक्रिया को लेकर टकराव बढ़ता जा रहा है। विपक्षी गठबंधन ने इस मुद्दे पर सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है। इसी कड़ी में, 7 अगस्त को दिल्ली में ‘इंडिया’ गठबंधन के नेताओं की एक अहम बैठक होने वाली है, जिसमें आगे की रणनीति पर चर्चा की जाएगी। इस बैठक की मेजबानी लोकसभा में विपक्ष के नेता राहुल गांधी कर रहे हैं।
इस बैठक से पहले, राहुल गांधी ने 6 अगस्त को बेंगलुरु में एक बड़ा खुलासा करने का दावा किया है। उन्होंने कहा है कि वह चुनाव आयोग की इस प्रक्रिया से संबंधित कुछ ऐसे सबूत सामने लाएंगे, जो चौंकाने वाले होंगे। राहुल गांधी ने इसे ‘एटम बम’ जैसा खुलासा बताया है। उनका आरोप है कि एसआईआर प्रक्रिया के जरिए सरकार बिहार में बड़े पैमाने पर वोटरों के नाम हटवा रही है, जिससे चुनाव में धांधली की जा सके।
विपक्ष ने संसद के अंदर और बाहर इस मुद्दे पर जोरदार प्रदर्शन किया है। विपक्षी सांसदों ने संसद परिसर में नारे लगाए और इसे लोकतंत्र पर हमला करार दिया। इसके बाद, 8 अगस्त को ‘इंडिया’ गठबंधन के सांसद संसद भवन से चुनाव आयोग के मुख्यालय तक एक विरोध मार्च भी निकालेंगे।
इस पूरे मामले पर सरकार का कहना है कि चुनाव आयोग एक संवैधानिक संस्था है और सदन में उसके कामकाज पर चर्चा नहीं हो सकती है। हालांकि, विपक्ष अपनी मांग पर अड़ा हुआ है। ‘इंडिया’ गठबंधन के नेताओं का मानना है कि यह मुद्दा लोकतंत्र के लिए खतरा है और इसे नजरअंदाज नहीं किया जा सकता। अब सभी की निगाहें 7 अगस्त की बैठक और 6 अगस्त को बेंगलुरु में होने वाले खुलासे पर टिकी हैं।