ओडिशा संबलपुर में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि आज बीजेपी के हर कार्यकर्ता के लिए गर्व और सम्मान का दिन है। आज देश ने लालकृष्ण आडवाणी को भारत रत्न से सम्मानित करने की घोषणा की है। यह पुरस्कार उसी परंपरा का सम्मान करने के लिए दिया जाता है राष्ट्र की सेवा। यह दो सांसदों वाली पार्टी से देश और दुनिया की सबसे बड़ी पार्टी बनने के परिवर्तन का सम्मान है। मोदी ने कहा कि आडवाणी ने उस समय संघर्ष किया जब भाजपा को राजनीतिक अछूत बना दिया गया था। वे अटल जी के साथ मिलकर लड़े।
कांग्रेस ने याद दिलाया वाकया
कांग्रेस महासचिव (संचार) जयराम रमेश ने कहा कि 5 अप्रैल 2014 को गांधीनगर में नरेंद्र मोदी और लालकृष्ण आडवाणी नामांकन पत्र भरने जा रहे थे। तब आडवाणी जी ने बहुत मशहूर बयान दिया था जो हमारे भारतीय इतिहास में स्वर्ण अक्षरों में लिखा जाएगा। उन्होंने कहा था कि नरेंद्र मोदी मेरे शिष्य नहीं हैं, मेरे शागिर्द नहीं हैं, वे एक शानदार कार्यक्रम प्रबंधक हैं। ये शब्द हमने नहीं दिया है, ये लालकृष्ण अडवाणी ने मोदी जी के बारे में कहा था। 2002 में आडवाणी ने नरेंद्र मोदी को बचाया था और 2014 में हमारे प्रधानमंत्री का असली रूप जनता के सामने रखा था।
भारत रत्न का दुरुपयोग
कांग्रेस नेता व उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने लालकृष्ण आडवाणी को भारत रत्न देने का विरोध किया है। उन्होंने कहा कि ये भारत रत्न का दुरुपयोग है। वहीं कांग्रेस के राष्ट्रीय अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने इस फैसले का स्वागत किया है। उन्होंने कहा कि अगर ये निर्णय हुआ है तो हम इसका सम्मान करते हैं।