यूपीएससी की परीक्षा में सफलता हासिल करने के बाद भी अफसरों को कई परीक्षाएं देनी होती हैं। ये परीक्षा असल में ड्यूटी के दौरान मिलने वाली चुनौतियां होती हैं। आज हम एक ऐसे ही अफसर की बात कर रहे हैं। ये हैं आईपीएस प्रभाकर चौधरी ये एक ऐसे आईपीएस अफसर हैं, जो अपने कामों से ज्यादा अपने तबादलों के लिए हमेशा चर्चा में रहते हैं।
पहले प्रयास में पास की यूपीएससी
आईपीएस प्रभाकर चौधरी उत्तर प्रदेश के अंबेडकरनगर के रहने वाले हैं। उन्होंने इलाहाबाद यूनिवर्सिटी से बीएससी करने के बाद एलएलबी की पढ़ाई की। उन्होंने साल 2010 में पहली बार यूपीएससी की परीक्षा दी थी और अपने पहले ही प्रयास में उन्होंने इस परीक्षा को पास कर ली। उन्होंने नोएडा में सहायक पुलिस अधीक्षक (एएसपी) के तौर पर अपने करियर की शुरुआत की थी। इसके बाद उन्होंने कानपुर, बनारस, बलिया, बुलन्दशहर और मेरठ के पुलिस बलों के साथ भी काम किया।
चर्चाओं में रहते हैं आईपीएस
आईपीएस प्रभाकर चौधरी पुलिस बल के नियमों और परंपराओं का पालन करने के लिए जाने जाते हैं। इसके अलावा वह अपने तबादलों को लेकर हमेशा चर्चा में रहते हैं। अपने करियर की शुरुआत से लेकर अबतक 13 सालों में 21 बार उनका तबादला हो चुका है। प्रभाकर चौधरी को तेज तर्रार आईपीएस अफसर के तौर पर जाना जाता है।
आईपीएस प्रभाकर चौधरी को साल 2016 में कानपूर देहात का एसपी नियुक्त किया गया था। एसपी बनने के बाद उन्होंने कार्यालय जाने के लिए सरकार द्वारा प्रदान किए गए वाहनों का इस्तेमाल न करके राज्य सड़क बस और टेम्पो से दफ्तर जाते थे। इसके अलावा एक मरीज को अस्पताल पहुंचाने के लिए उन्होंने खुद अपना वाहन चलाया था। साल 2017 में मेरठ में पोस्टिंग होने के बाद उन्होंने माफिया के खिलाफ कार्यवाई करते हुए लूटपाट की कई घटनाओं का खुलासा किया था।
इस साल बरेली में हुआ था तबादला
आईपीएस प्रभाकर चौधरी का तबादला इसी साल मार्च में बरेली में हुआ था। उन्होंने 14 मार्च को बरेली में अपना कार्यभार संभाला। बरेली में कावड़ यात्रा के दौरान कांवड़ियों पर लाठीचार्ज मामले में आईपीएस प्रभाकर चौधरी का फिर से एक बार तबादला कर दिया गया है। अब उन्हें अब उन्हें 32वीं पीएसी लखनऊ भेजा गया है।