उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की वर्चुअल उपस्थिति में उत्तराखंड सम्मिलित राज्य कनिष्ठ अभियन्ता सेवा परीक्षा, 2023 के अंतर्गत विभिन्न विभागों में चयनित 1094 कनिष्ठ अभियंताओं को नियुक्ति पत्र प्रदान किए गए। नींबूवाला, गढ़ी कैंट स्थित संस्कृति विभाग के ऑडिटोरियम में आयोजित कार्यक्रम में कैबिनेट मंत्री सतपाल महाराज, प्रेमचन्द अग्रवाल, राज्यसभा सांसद नरेश बंसल और विधायक सविता कपूर उपस्थित थी। धामी ने इस अवसर पर कनिष्ठ अभियंता पद के लिए चयनित हुए अभ्यर्थियों से वर्चुअल संवाद किया और उन्हें बधाई भी दी।
नौकरी मिलने पर यह बोले अभ्यर्थी
नियुक्ति पत्र मिलने के बाद अभ्यर्थी योगेश कड़ाकोटी ने कहा कि राज्य में सख्त नकल विरोधी कानून लागू होने के बाद भर्ती परीक्षाओं में पारदर्शिता आई है। यह भर्ती प्रक्रिया काफी कम समय में पूर्ण हुई है। उन्होंने युवाओं को संदेश दिया कि कड़ी मेहनत और खुद पर विश्वास रखें। राज्य सरकार द्वारा जिस तेजी से भर्ती प्रक्रियाएं पूर्ण की जा रही हैं, जिससे युवाओं में नई आशा जगी है। वहीं संदीप उनियाल ने कहा कि उन्होंने 2014 में डिप्लोमा किया था और वे 2019 से प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी कर रहे हैं। राज्य में नकल विरोधी कानून लागू होने के बाद और भर्ती परीक्षाओं में तेजी आने से युवाओं का सरकारी नौकरियों के प्रति रुझान और बढ़ा है। रूडक़ी की अभ्यर्थी महजबी ने कहा कि यह पूरी भर्ती प्रक्रिया एक साल से कम समय में पूरी हुई। अभी जिस तेजी से राज्य में भर्तियां आ रही हैं, सभी लोग तैयारी करने के लिए उत्साहित हैं।
जीवन का नया अध्याय शुरू हो रहा : धामी
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने चयनित सभी कनिष्ठ अभियंताओं को बधाई देते हुए कहा कि आपके जीवन का एक नया अध्याय शुरू हुआ है। अपने माता-पिता, गुरुओं और ईश्वर की कृपा से सभी को देवभूमि उत्तराखंड में सेवा करने का अवसर मिल रहा है। उन्होंने आशा जताई कि कि जिन 1094 अभ्यर्थियों को नियुक्ति मिली है, इनसे विभागों को और मजबूती मिलेगी। मुख्यमंत्री ने अभ्यर्थियों से कहा कि ज्ञान, विज्ञान और तकनीक का जिस तेजी से विस्तार हो रहा है, उस हिसाब से नियमित अपडेट रहें। सभी पूर्ण निष्ठा और समर्पण भाव से अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन करें। इसके लिए कार्यक्षेत्र में नियमित दिनचर्या बनाना जरूरी है। राज्य में पिछले तीन सालों में राज्य में सरकारी विभागों में 17 हजार से अधिक नौकरियां प्रदान की गई हैं। राज्य में नकल को जड़ से समाप्त करने के लिए नकल माफिया पर सरकार द्वारा सख्त कार्रवाई की गई।