पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान ने हरियाणा को अतिरिक्त पानी देने से साफ़ इनकार कर दिया है। यह विवाद भाखड़ा ब्यास प्रबंधन बोर्ड के माध्यम से पानी के बंटवारे को लेकर है। भगवंत मान का कहना है कि हरियाणा पहले ही अपने हिस्से से अधिक पानी का उपयोग कर चुका है। उन्होंने यह भी आरोप लगाया है कि हरियाणा सरकार भाखड़ा ब्यास प्रबंधन बोर्ड के माध्यम से पंजाब पर अनुचित दबाव बना रही है। उन्होंने यह भी कहा है कि उनके डैम में पानी कम है।
हरियाणा का यह है पक्ष
हरियाणा के मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी का कहना है कि हरियाणा को अभी तक उसका पूरा हिस्सा नहीं मिला है। हरियाणा का कहना है कि उन्हें पीने के पानी की समस्या हो रही है। उन्होंने पंजाब से मानवीय आधार पर पानी देने की अपील की है। दरअसल यह विवाद पानी के बंटवारे को लेकर है, जिसमें दोनों राज्य अपने-अपने हिस्से का दावा कर रहे हैं। गर्मी के मौसम में पानी की मांग बढ़ जाती है, जिससे यह विवाद और गंभीर हो जाता है। इस विवाद से दोनों राज्यों के बीच तनाव बढऩे की संभावना है। केंद्र सरकार भी इस मामले में हस्तक्षेप कर सकती है ताकि दोनों राज्यों के बीच सहमति बन सके।
देश युद्ध के मुहाने पर खड़ा
पंजाब के मुख्यमंत्री भगवंत मान के हरियाणा को और पानी देने से इंकार करने वाले बयान पर राज्य के मंत्री अनिल विज ने कहा कि देश युद्ध के मुहाने पर खड़ा है। युद्ध के समय सभी को एकता दिखानी चाहिए। देश का बच्चा-बच्चा प्रधानमंत्री के साथ खड़ा है। ऐसे समय में आपसी विवाद नहीं बढ़ाने चाहिए। पंजाब सीमावर्ती राज्य है। इस समय इसकी जिम्मेदारी ज्यादा है। मेरा मानना है कि भगवंत मान को इस समय अपना बयान वापस ले लेना चाहिए।