क्या एक बार फिर से 2014 वाले इंग्लैंड दौरे की गलतियां दोहरा रहे हैं विराट कोहली

Liberal Sports Desk : भारतीय टीम के कप्तान विराट कोहली इंग्लैंड के खिलाफ चल रही मौजूदा टेस्ट सीरीज में अब तक अपने बल्ले की छाप छोड़ने में नाकाम रहे हैं। नॉटिंघम टेस्ट की पहली पारी में जहां पहली ही गेंद पर वह जेम्स एंडरसन का शिकार होकर पवेलियन लौट गए तो लॉर्ड्स टेस्ट की दोनों पारियों में विराट कोहली को अच्छी शुरुआत मिली लेकिन उन अच्छी शुरुआत को विराट कोहली बड़ी पारियों में तब्दील नहीं कर पाए ।और एक बार फिर से विराट कोहली वही गलतियां करते हुए दिखाई दे रहे हैं जो 2014 के इंग्लैंड दौरे पर उन्होंने की थी और अब ऐसा लगने लगा है कि क्या विराट कोहली एक बार फिर से 2014 के बुरे दौर में आ गए हैं।

2014 में जो गलतियां कर रहे थे एक बार फिर से उन्हीं गलतियों को दोहरा रहे हैं विराट कोहली

2014 के इंग्लैंड दौरे की बात हम इसलिए कर रहे हैं क्योंकि वह दौरा विराट कोहली के लिए बुरे सपने की तरह थ। एक समय ऐसा भी आ गया था जब विराट कोहली को टीम से ड्रॉप भी किया जा सकता था लेकिन महेंद्र सिंह धोनी ने विराट कोहली पर भरोसा जताया और उन्हें टीम पर बनाए रखा। जिसके बाद विराट कोहली ने अपनी खामियों पर काम करके जोरदार वापसी की थी। 2014 में जो गलतियां विराट कोहली इंग्लैंड दौरे पर कर रहे थे कुछ उसी तरह की गलतियां 2021 के मौजूदा इंग्लैंड दौरे पर करते हुए दिखाई दे रहे हैं जब विराट कोहली सातवें आठवें स्टंप की गेंद पर स्ट्रोक लगाने जा रहे हैं। और गेंद उनके बल्ले का किनारा लेकर विकेटकीपर के दस्तानों में जा रही है कुछ इसी तरह की गलती 2014 में विराट कोहली जेम्स एंडरसन के विरुद्ध करते नजर आए थे। जब उनकी बाहर जाती गेंदों को विराट कोहली कवर ड्राइव मारने का प्रयास करते थे लेकिन सफल नहीं हो पा रहे थे कुछ इसी तरह की गलतियां उनके द्वारा इस इंग्लैंड दौरे पर यह बयान कर रहे हैं कि विराट कोहली 2014 की वहीं गलतियां दोहरा रहे हैं।

कोहली को छोड़नी होंगी बाहर जाती हुई गेंदे

इंग्लैंड के खिलाफ खेली जा रही मौजूदा टेस्ट सीरीज में विराट कोहली चार पारियों में 3 बार आउट हो चुके हैं और इन तीनों पारियों में विराट कोहली के आउट होने का तरीका बाहर जाती गेंदों को छेड़ते हुए विराट कोहली आउट हुए हैं। विराट कोहली को आगे आने वाले तीन टेस्ट मुकाबलों में बाहर जाती गेंदों को पूरी तरह से छोड़ना होगा यही एक तरीका है जब विराट कोहली का आत्मविश्वास बढ़ेगा और विराट कोहली अंतिम तीन टेस्ट मैचों में सफल हो पाएंगे।

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